हाल-ए-बेरोजगारी: स्ट्रीट वेंडर बनने के लिए 50,000 ग्रेजुएट-पोस्ट ग्रेजुएट युवाओं ने किया आवेदन

Posted By: Himmat Jaithwar
2/8/2021

भोपाल: कोरोना महामारी के कारण देश में लॉकडाउन लागू हुआ तो इसका सबसे बुरा असर स्ट्रीट वेंडर्स पर पड़ा. रेहड़ी-पटरी वालों का रोजगार ठप पड़ गया. क्योंकि ज्यादातर स्ट्रीट वेंडर्स प्रवासी होते हैं. लॉकडाउन के दौरान उन्हें अपने गृह स्थान की ओर लौटना पड़ा था. रेहड़ी-पटरी वालों का काम धंधा फिर से पटरी पर लौटे इसके लिए मोदी सरकार ने पीएम स्वनिधि योजना की शुरुआत की. यह योजना 20.97 लाख करोड़ रुपए के आत्मनिर्भर भारत पैकेज का हिस्सा है. मध्य प्रदेश में 10,000 का लोन लेकर स्ट्रीट वेंडर बनने की कतार में ग्रामीण क्षेत्र के 50,000 उच्च शिक्षित खड़े हैं. 

मध्य प्रदेश में रजिस्टर्ड बेरोजगार 29 लाख के पार

इन्होंने पीएम स्वनिधि लोन के लिए आवेदन किया है. ये आंकड़े मध्य प्रदेश सरकार के ग्रामीण कामगार सेतु शासकीय पोर्टल के स्पीड वेंडर रूरल डैशबोर्ड के हैं. पढ़े-लिखे उच्च शिक्षितों को काम नहीं मिल रहा है. नौकरी मिलने की आस खो चुके ये उच्च शिक्षित अब स्ट्रीट वेंडर योजना का लाभ लेने के लिए आवेदन कर रहे हैं. मध्य प्रदेश के विभिन्न रोजगार कार्यालयों में बेरोजगारों की पंजीयन संख्या 29 लाख के पार पहुंच चुकी है. केंद्र सरकार ने आर्थिक रूप से कमजोर और फुटपाथ पर दुकान लगाने वालों की स्थिति में सुधार लाने के लिए 10,000 का लोन बिना ब्याज पर देने का फैसला लिया है.

जानिए कैसे उठाएं पीएम स्वनिधि योजना का लाभ

पीएम स्वनिधि योजना में रेहड़ी-पटरी, ठेले-खोमचे वालों को एक साल के लिए 10,000 रुपए का ऋण बिना किसी गारंटी के उपलब्ध कराया जा रहा है. प्र​धानमंत्री स्वनिधि योजना के तहत लिए वर्किंग कैपिटल लोन को एक साल में मासिक किस्‍तों में चुकाया जाना है. लोन को समय से चुकाने पर हर साल 7 फीसदी की दर से ब्याज सब्सिडी मिलेगी. ये सब्सिडी सीधे लोन लेने वाले के खाते में जाएगी. देशभर में फैले 3.8 लाख साझा सेवा केन्द्रों (सीएससी) के जरिए यह लोन ले सकते हैं. नगर पालिका कार्यालय से आवेदन पत्र ऑनलाइन अपलोड किए जा सकते हैं या फिर बैंक से यह फॉर्म लिया जा सकता है.

​इस तरह के रोजगार के लिए लोगों को चाहिए लोन
मध्य प्रदेश में स्ट्रीट वेंडर योजना के तहत 10,000 रुपए के लोन के लिए 46,531 ग्रेजुएट और 6,145 पोस्टग्रेजुएट ने आवेदन किया है. राज्य में पीएम स्वनिधि योजना के तहत कुल 9,45,583 आवेदन आए हैं. इसमें 3,72,719 अशिक्षित आवेदक हैं. साक्षर आवेदकों की संख्या 3,34,519 है. 10वीं तक पढ़ाई करने वाले 92,597 आवेदकों ने लोन के लिए अप्लाई किया है. 

ऐसे 12वीं पास आवेदकों की संख्या 93,072 है. समोसा- कचोरी बेचने के लिए 29,586 आवेदन, फल का ठेला लगाने के लिए 1,57,095, टेलरिंग के लिए 1,53,694, रूरल आर्टिसन 1,26,084, हैंडीक्राफ्ट 72,143, चिकन शॉप 70,367, गारमेंट शॉप 68,125, ब्रेड एंड बेकरी के लिए 65,202 आवेदन प्राप्त हुए हैं. पीएम स्वनिधि मोबाइल ऐप के जरिए स्ट्रीट वेंडर्स को बिना किसी कागजी कार्रवाई के माइक्रो-क्रेडिट सुविधाओं के जरिए आसानी से लोन दिया जाता है.



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