इंदौर। एक महीने से जेल में बंद कॉमेडियन मुनव्वर फारुकी को सुप्रीम कोर्ट से शुक्रवार को राहत मिल गई। इंदौर में विवादित टिप्पणी के मामले में अंतरिम जमानत के आदेश हुए हैं। फारुकी अभी जेल से बाहर आ पाएगा कि नहीं इस पर संशय है। क्योंकि इंदौर के अलावा उस पर अन्य जगहों पर भी इस प्रकार के मामले दर्ज हैं। बता दें कि हाईकोर्ट की इंदौर खंडपीठ ने कॉमेडियन मुनव्वर फारुकी की जमानत याचिका खारिज होने के बाद मुनव्वर ने अपनी जमानत के लिए सुप्रीम कोर्ट की ओर रुख किया था।
एक कॉमेडी शो में मुनव्वर फारुकी पर हिंदू देवी-देवताओं और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह समेत दूसरे नेताओं पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने का आरोप लगा था, जिस कारण उसे गिरफ्तार कर लिया गया था। पिछले 1 महीने से कॉमेडियन मुनव्वर फारुकी केंद्रीय जेल में बंद हैं। जमानत के लिए उन्होंने इंदौर जिला कोर्ट और हाईकोर्ट में आवेदन दिया था, लेकिन दोनों ही कोर्ट में उसकी जमानत याचिका खारिज कर दी गई थी।
इसके बाद अब मुनव्वर फारुकी ने सुप्रीम कोर्ट की ओर रुख किया। इस मामले में मुनव्वर फारुकी के अधिवक्ता अंशुमन श्रीवास्तव ने कई तरह के तर्क कोर्ट के सामने रखे, उन्होंने कहा कि मुनव्वर फारुकी द्वारा इस तरह की अभद्र टिप्पणी इंदौर में नहीं की गई थी। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने फारुकी को अंतरिम जमानत दी है। इस मामले में यह स्पष्ट नहीं हो सका है कि फारुकी जेल से बाहर आ पाएगा या नहीं।
यह है मामला
नए साल पर 56 दुकान स्थित मुनरो कैफे में गुजरात के विवादित स्टेंडअप काॅमेडियन मुन्नवर फारूकी को बुलाया गया था। इसकी जानकारी मिलते ही हिंदू संगठन के नेता उसकी यू-ट्यूब पर जारी धार्मिक भावनाएं भड़काने और हिंदू धर्म पर की गई काॅमेडी को देखते हुए टिकट लेकर शो में शामिल हुए थे। इस शो में स्टैंडअप काॅमेडी के लिए प्रियम ने ही शहर के आराध्य देव के बारे में विवादित काॅमेडी शुरू कर दी। जैसे ही शो शुरू हुआ हिंदू संगठन हिंदू रक्षक के नेताओं ने काॅमेडियन मुन्नवर सहित सभी काॅमेडियन को वहीं पीट दिया और थाने ले आए। जिसके बाद सभी को जेल भेज दिया गया।