पीएफ डिपॉजिट पर पहले के मुकाबले इस बार कम ब्याज मिलेगा, यानी कम फायदा। 2020 के लिए पीएपफ डिपॉजिट पर ब्याज दर को 15 बेसिस पॉइंट्स घटाकर 8.5 फीसदी कर दिया गया है, जो पहले 8.65 पर्सेंट थी। लेकिन आप अगर यह सोच रहे हैं कि आप नुकसान में हैं तो ऐसा बिल्कुल नहीं है।
घट गया ब्याज, फिर भी सैलरीड क्लास के लिए खास है PF
मौजूदा वित्त वर्ष के लिए भले ही पीएफ पर पिछले साल से कम ब्याज मिलेगा लेकिन कई बातें हैं जो इसे फायदे का फंड बनाती हैं। EPFO करीब 6 करोड़ खाताधारकों को इस वित्त वर्ष थोड़ा नुकसान होगा, लेकिन निवेश के लिए पीएफ दूसरी स्मॉल सेविंग्स के मुकाबले काफी बढ़िया है। आइए जानें क्या हैं पीएफ के फायदे। सबसे पहले जानें जानें आखिर पीएफ है क्या।
क्या होता है PF?
PF एक अनिवार्य रिटायरमेंट सेविंग्स स्कीम है जिसे EPFO मैनेज करता है। पहली बार किसी कंपनी में जॉब शुरू करने पर एम्प्लॉयी के लिए उस कंपनी की ओर से ही पीएफ अकाउंट खोला जाता है। इसमें कंपनी हर महीने एम्प्लॉयी की बेसिक सैलरी का 12 फीसदी पैसा काटकर जमा कराती है और खुद भी अधिकतम 12 फीसदी पैसा उस कर्मचारी के PF खाते में डालती है। इस पूरे पैसे पर सालाना ब्याज दिया जाता है। इसी ब्याज को 0.15% घटाकर 8.5% कर दिया गया है। पिछले फाइनैंशल इयर के लिए यह 8.65% था। अब समझिए कैसे फायदे मंद है आपके लिए PF।
मिलती है पेंशन
पीएफ अकाउंट में जमा रकम तीन भागों में बंटी होती है। पहला वह जो कंपनी आपकी बेसिक सैलरी में से काटकर (12%) जमा कराती है। दूसरा, उतनी यानी 12% रकम कंपनी भी अपनी ओर से आपके पीएफ अकाउंट में जमा करती है। कंपनी की ओर से जमा कराई गई रकम दो भागों में बंटी होती है। 12% में से 3.67% रकम पीएफ कंट्रिब्यूशन में और 8.33% रकम पेंशन फंड में जमा होती है। आपकी रिटायरमेंट के बाद आपके लिए पेशन फंड से पेंशन शुरू हो जाती है। पेंशन की रकम कितनी होगी, यह पीएफ अकाउंट में आपकी जमा रकम पर निर्भर करता है।
टैक्स फ्री है PF और उस पर मिलने वाला ब्याज
मौजूदा टैक्स सिस्टम के मुताबिक, EPF में जाने वाले कॉन्ट्रिब्यूशन पर सेक्शन 80सी के तहत टैक्स बेनिफिट्स मिलते हैं, साथ ही इस पर हासिल होने वाले ब्याज और मैच्योरिटी पर मिलने वाली रकम, दोनों ही टैक्स फ्री हैं।
PF तैयार करता है बड़ा रिटायरमेंट फंड
PF के जरिए आपके कन्ट्रिब्यूशन में सैलरी बढ़ने के साथ लगातार इजाफा होता रहता है। चूंकि यह कॉन्ट्रिब्यूशन बेसिक सैलरी के एक तय अनुपात के बराबर रखा गया है, लिहाजा कन्ट्रिब्यूशन आपकी इनकम के साथ बढ़ता है। यह पहलू एक अच्छा रिटायरमेंट फंड तैयार करने के लिहाज से अहम है। हालांकि EPF से वाकई फायदा लेने के लिए आपको निम्नलिखित बिंदुओं पर गौर करना चाहिए।
PF पर 6 लाख तक का इंश्योरेंस
आपका प्रविडेंट फंड (PF) जमा हो रहा है तो मुफ्त में आपको 6 लाख रुपये तक का लाइफ इंश्योरेंस भी मिलता है। इस विशेष सुविधा का लाभ हर PF खाताधारक को मिलता है और इसके लिए उसे अलग से कुछ जमा करने की जरूरत नहीं है। मतलब, इसके लिए कर्मचारी को अलग से प्रीमियम भरने की जरूरत नहीं है। EPFO की स्कीम, एंप्लॉयी डिपॉजिट लिंक्ड इंश्योरेंस (EDLI) के तहत पीएफ खाताधारकों को यह सुविधा मिलती है। EDLI के अंतर्गत किसी कर्मचारी को न्यूनतम 2.5 लाख और अधिकतम 6 लाख रुपये तक का इंश्योरेंस कवर मुफ्त में मिलता है। अगर किसी कर्मचारी की आकस्मिक मौत हो जाती है तो उसके परिवार वाले इंश्योरेंस राशि क्लेम कर सकते हैं।
मैच्योरिटी से पहले भी निकाल सकते हैं पैसा
से तो आपके रिटायरमेंट के बाद पीएफ का एकमुश्त पैसा इंट्रेस्ट के साथ मिल जाता है। हालांकि जॉब छोड़ने और जॉब के दौरान भी कुछ परिस्थितियों में भी पैसा निकाला जा सकता है। जैसे अगर आपकी जॉब छूट गई है और एक महीने से बेरोजगार हैं तो आप अपने PF अकाउंट से 75 फीसदी रकम निकाल सकते हैं। बाकी 25 फीसदी रकम जॉब छूटने के दो महीने बाद निकाली जा सकती है। अगर PF 5 साल से कम कंट्रिब्यूट किया है तो निकाली गई रकम पर आपको टैक्स देना होगा। इनके अलावा बच्चे, भाई, बहन या खुद की शादी के लिए 50% रकम निकाल सकते हैं बशर्ते जॉब को 7 साल हो चुके हों। बच्चों या खुद की पढ़ाई के लिए भी पैसा निकाला जा सकता है। मेडिकल इमर्जेंसी या घर खरीदने आदि के लिए भी पैसा निकाला जा सकता है।
ज्यादा रिटर्न की भी संभावना
पीएफ के फायदे यहीं तक सीमि त नहीं हैं। EPFO आपके पीएफ का पैसा ETF यानी एक्सचेंज ट्रेडेड फंड में भी निवेश करता है। इसमें कुल निवेश योग्य डिपॉजिट का 5-15% तक का निवेश किया जाता है। EPFO अपने ऐनुअल ऐक्रुअल्स का 85 प्रतिशत हिस्सा डेट मार्केट में और 15 प्रतिशत हिस्सा एक्सचेंज ट्रेडेड फंड्स के जरिए इक्विटीज में लगाता है। पिछले साल मार्च के अंत में इक्विटीज में EPFO का कुल निवेश 74,324 करोड़ रुपये का था और उसे 14.74% का रिटर्न मिला था।