देशभर में कोरोनावायरस (Coronavirus) का कहर लगातार बढ़ता जा रहा है. इस बीच, उत्तर प्रदेश में कोरोना से पहली मौत होने की सूचना आई. गोरखपुर के बीआरडी मेडिकल कॉलेज में भर्ती मरीज की सोमवार को मौत हो गई थी. उसकी जांच रिपोर्ट पॉजिटिव आई है. डॉक्टरों का दावा है कि मरीज के परिजनों ने उसके यात्रा का ब्योरा नहीं दिया था. जांच में कोरोनावायरस से संक्रमित निकलने के बाद हडकंप मच गया है. पुलिस ने उस क्षेत्र को सील कर दिया है, जहां मृतक रहता था. वहीं. मृतक के संपर्क में आए रिश्तेदारों समेत अन्य लोगों की पहचान की गई है और उन्हें क्वारंटाइन किया गया है. इसके अलावा, बस्ती जिला अस्पताल और गोरखपुर के बीआरडी मेडिकल कॉलेज के डॉक्टरों और स्टाफ की भी पहचान की जा रही है और क्वारंटाइन किया जा रहा है.
अधिकारी इस बात को लेकर भी चिंतित है कि इस शख्स ने बरेली अस्पताल में भर्ती होने तक कितने लोगों के संपर्क में आया होगा और कितने लोगों को संक्रमित किया गया होगा.
बस्ती जिला अस्पताल के डॉक्टरों ने कहा कि मरीज को उसके रिश्तेदार 28 मार्च को अस्पताल लेकर आए थे और सांस लेने में तकलीफ होने की समस्या बताई थी. बस्ती जिला अस्पताल के प्रभारी डॉक्टर ओ.पी. सिंह ने संवाददाताओं को बताया, "मरीज ने अपनी यात्रा से जुड़ी जानकारी नहीं दी थी. यह मरीज और उसके रिश्तेदारों की गलती है. वह एक महीने से बीमार था. जिस वक्त उसे भर्ती किया, उसे बुखार नहीं थी. इसलिए हमने सामान्य ओपीडी में जांच करके उसे जनरल वार्ड में भर्ती कर दिया. यदि मरीज या उसके परिजन एक बार की बता देते कि वह मुंबई से लौटा है तो हम उसे तुरंत कोरोना वार्ड में भेज देते."
इस शख्स को रविवार को गोरखपुर में मेडिकल कॉलेज में भर्ती किया गया था. यहां भी उसे कोरोना वार्ड के जगह जनरल वार्ड में भर्ती किया गया था. सोमवार शाम को मरीज की मौत हो गई. उसका शव परिजनों को दे दिया गया है, वे उसे लेकर बस्ती चले गए और अंतिम संस्कार कर दिया. उत्तर प्रदेश सरकार ने अब पुष्टि की है कि मृतक हाल ही में मुंबई से लौटा था.
बस्ती के जिला प्रशासन ने वह इलाके को सील कर दिया है, जहां कोरोनावायरस से संक्रमित मृतक रहता था. उसके सभी रिश्तेदारों की पहचान करके उन्हें क्वारंटाइन में रखा गया है. बस्ती और गोरखपुर अस्पतालों के डॉक्टरों और स्टाफ की भी पहचान की जा रही है और क्वारंटाइन किया जा रहा है. मरीज के संपर्क में आए रिश्तेदारों और अस्पताल कर्मियों का परीक्षण किया जाएगा.
उत्तर प्रदेश सरकार के एकीकृत रोग निगरानी कार्यक्रम के निदेशक (महामारी) विकासेंदु अग्रवाल ने कहा, "हम बड़ी संख्या में लोगों का पता लगा रहे हैं. मरीज और उनके परिजनों को हमारा सहयोग करना चाहिए वरना इन चुनौतियों से लड़ना कठिन हो जाएगा."
राज्य सरकार के आंकड़ों के मुताबिक, उत्तर प्रदेश में कोरोनावायस के अब तक 103 मामले सामने आए हैं. इसमें सबसे ज्यादा मामले नोएडा (39) में सामने आए हैं.