राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) फरवरी 2019 के पुलवामा आतंकी हमले मामले में मंगलवार दोपहर को चार्जशीट दायर करेगी, जिसमें जैश-ए-मोहम्मद (जेएम) प्रमुख मौलाना मसूद अजहर, उसके भाई अब्दुल राउत असगर, आतंकी संगठन के कई अन्य कमांडरों का नाम शामिल होगा। एनआईए के अधिकारी चार्जशीट दाखिल करने के लिए कोर्ट पहुंच चुके हैं।
अधिकारियों ने कहा कि पाकिस्तान के इशारे पर बम विस्फोट में शामिल होने के आरोप में सात गिरफ्तार किए गए हैं। भारत और पाकिस्तान को युद्ध के कगार पर पहुंचाने वाले हमले में 40 केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के जवान शहीद हुए थे।
5,000 से अधिक पन्नों की चार्जशीट डिप्टी इंस्पेक्टर जनरल सोनिया नारंग और पुलिस अधीक्षक राकेश बलवाल की एक टीम द्वारा जांच के बाद पूरी की गई है। इसे जम्मू में एक विशेष एनआईए अदालत के समक्ष दायर किया जाएगा। अधिकारियों ने कहा कि चार्जशीट में हमले में पाकिस्तान की भूमिका पर अकाट्य सबूत - तकनीकी, सामग्री और परिस्थितिजन्य साक्ष्य हैं।
एजेंसी के अनुसार, जम्मू और कश्मीर के हाजीबल, काकापोरा के निवासी कुचेय ने पुलवामा हमले में शामिल जैश-ए-मोहम्मद (JeM) के आतंकवादियों को अपने घर में शरण दी और हमला को अंजाम देने में मदद पहुंचाया। मुख्य अपराधी उनसके घर में रुका था और कुचे ने उन्हें अन्य लोगों से भी मिलवाया, जिन्होंने उनके रहने और हमले की योजना बनाने में मदद की।
उसने जैश-ए-मोहम्मद के आतंकवादियों को मोबाइल फोन भी मुहैया कराए, जिससे हमले को अंजाम देने में मदद मिली। उपलब्ध कराए गए मोबाइलों में से एक आतंकवादी आदिल अहमद डार की वीडियो क्लिप रिकॉर्ड करने के लिए भी इस्तेमाल किया गया था, जो हमले के बाद वायरल हो गया।