कटनी। आप चाहे तो कोविड-19 की जांच प्रक्रिया पर सवाल उठा सकते हैं, उसे फर्जी भी कह सकते हैं क्योंकि एक महिला जिसकी CMHO से कोई दुश्मनी नहीं है बता रही है कि उसने केवल एक फॉर्म भरा था, देवरानी की तबीयत खराब होने के कारण सैंपल के पहले ही वह वापस लौट आई थी लेकिन उसकी रिपोर्ट पॉजिटिव आ गई और उसे आइसोलेट कर दिया क्या।
मामले में स्वास्थ्य विभाग के डॉक्टर समीर सिंघई ने का कहना है कि महिला झूठ भी बोल सकती है, इसलिए उसकी दोबारा सेंपलिंग कराई जा रही है। वहां पर एक ही नाम की दो महिलाएं थी हो सकता है नाम बदल गए होंगे लेकिन वहां की आशा कार्यकर्ता व टेक्नीशियन काफी पुराने और अनुभवी हैं। इसलिए इस बात की आशंका कम है। फिर भी स्वास्थ्य विभाग पूरी शिद्दत के साथ मामले की जांच कर रहा है, मामले में जो भी दोषी होगा उस पर कार्रवाई की जाएगी।
डॉक्टर भी तो झूठ बोल सकते हैं: सोशल मीडिया
कोविड-19 जैसी गंभीर महामारी के मामले में चिकित्सा व्यवस्थाओं पर सवाल उठ गया है। डॉक्टर समीर का कहना है कि महिला झूठ बोल सकती है परंतु उसके झूठ बोलने के पीछे कोई कारण भी होना चाहिए लेकिन डॉक्टर समीर झूठ बोल सकते हैं इसकी पर्याप्त संभावना है क्योंकि चिकित्सा व्यवस्थाओं पर सवाल खड़ा हो गया है और उन्हें अपनी योग्यता को बचाए रखना है। यदि एक नाम की दो महिलाएं हैं और कन्फ्यूजन में कार्रवाई हो गई तो यह भी क्षमा योग्य नहीं हो सकता क्योंकि महामारी जानलेवा है। कल को कोई डॉक्टर कन्फ्यूजन में किसी दूसरे मरीज को इंजेक्शन लगा दे तो...।