भोपाल. ज्योतिरादित्य सिंधिया के कांग्रेस छोड़ने के बाद अब मध्यप्रदेश कांग्रेस में नंबर दो की लड़ाई शुरू हो गई है। युवाओं का नेतृत्व करने के बहाने मध्यप्रदेश में नंबर दो का नेता कौन होगा, इसको लेकर बयानबाजी शुरू हो गई है। दरअसल, ज्योतिरादित्य सिंधिया के भाजपा में शामिल होने के बाद कांग्रेस के पास केन्द्र और राज्यस्तर पर चेहरे का आभाव हो गया है। कमलनाथ 73 साल के हो गए हैं और माना जा रहा है कि वो अब राजनीति से रिटायरमेंट की ओर बढ़ रहे हैं। वहीं, अगर दिग्विजय सिंह की बात की जाए तो वे अभी राज्यसभा सांसद हैं और उनकी उम्र भी 73 साल हो चुकी है। कमलनाथ और दिग्विजय सिंह अब राजनीति से रिटायरमेंट की तरफ बढ़ रहे हैं। ऐसे में युवाओं को लेकर मध्यप्रदेश में बहस छिड़ गई है कि युवाओं का नेतृत्व कौन करेगा? क्यों छिड़ी बहस दरअसल, 9 जुलाई को दिग्विजय सिंह के बेटे जयवर्धन सिंह का जन्मदिन था। इस दौरान राजधानी भोपाल में उन्हें मध्यप्रदेश का भावी सीएम बताते हुए पोस्टर लगाए गए। इस पोस्टर के बाद राजनीति शुरू हुई। जिसके बाद कमलनाथ के बेटे नकुलनाथ का सोशल मीडिया में एक वीडियो वायरल हुआ। छिंदवाड़ा सांसद नकुलनाथ वायरल वीडियो में नकुलनाथ कह रहे हैं कि मैं उपचुनाव में युवाओं का नेतृत्व करूंगा। पिछले मंत्रिमंडल में हमारे जो मंत्री थे, जैसे जयवर्धन सिंह, जीतू पटवारी, सचिन यादव, हनी बघेल और ओमकार मरकाम, ये सभी लोग अपने-अपने क्षेत्र में मेरे साथ युवाओं का नेतृत्व करेंगे। इसी वीडियो के बाद से प्रदेश में सियासी माहौल गरमा गया। जयवर्धन सिंह नकुलनाथ से 'सीनियर' जयवर्धन सिंह की उम्र अभी 34 साल है और वो दूसरी बार विधायक बने हैं। कमलनाथ सरकार में मंत्री भी रहे। वहीं, नकुलनाथ 46 साल के हैं और मध्यप्रदेश की छिंदवाड़ा संसदीय सीट से 2019 में पहली बार सांसद बने हैं। नकुलनाथ अपने पिता कमलनाथ की विरासत को आगे बढ़ा रहे हैं, वहीं, जयवर्धन सिंह अपने पिता दिग्विजय सिंह की सियासत क आगे बढ़ा रहे हैं। एक्टिव कौन? अब सवाल उठता है कि एक्टिव कौन है? जानकार बताते है कि नकुलनाथ से ज्यादा एक्टिव जयवर्धन सिंह है। यही कारण है कि प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ ने आगर-मालवा विधानसभा सीट पर होने वाले उपचुनाव की जिम्मेदारी जयवर्धन सिंह को सौंपी है। जयवर्धन सिंह सोशल मीडिया में भी काफी एक्टिव हैं। वहीं, नकुलनाथ छिंदवाड़ा से अभी तक बाहर नहीं निकल सके हैं! ये भी हैं रेस में ऐसा नहीं है कि मध्य प्रदेश में 'नंबर 2' की कुर्सी की लड़ाई जयवर्धन सिंह और नकुलनाथ के बीच ही है। जीतू पटवारी भी इस रेस में हैं। इन सबके अलावे नबंर दो की लड़ाई में अरुण यादव और मीनाक्षी नटराजन भी शामिल हैं। हालांकि अरुण यादव इन दिनों केवल सोशल मीडिया में एक्टिव हैं। जबकि राहुल गांधी की करीबी माने जाने वाली मीनाक्षी नटराजन भी पूरी तरह से खामोश हैं।