उज्जैन में कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए प्रशासन ने एक बड़ा निर्णय लिया है। अब जो भी व्यक्ति मास्क नहीं लगाएगा, वह सीधा अस्थाई जेल जाएगा। निर्णय के बाद शुक्रवार सुबह से शहरभर में पुलिस तैनात हो गई और बिना मास्क वालों को पकड़कर अस्थाई जेल भेजने लगी। दोपहर 12 बजे तक ही 200 से ज्यादा लोगों को जेल भेज दिया गया। अस्थाई जेल के बाहर देखते ही देखते लंबी लाइन लग गई। इनके लिए सजा दो प्रकार से प्रावधान किया गया है। पहला शाम 5 बजे तक जेल में रहना होगा। दूसरा प्रत्येक व्यक्ति को स्वसहायता समूह से दो - दो मास्क खरीदना होगा।
एडीएम विदिशा मुखर्जी के अनुसार दोपहर तक मास्क नहीं पहनने वाले 198 लोगों को अस्थाई जेल भेजा गया।
उज्जैन में लगातार कोरोना संक्रमित मरीजों की बढ़ती हुई संख्या को देखते हुए उज्जैन प्रशासन ने 2 दिन पहले के निर्णय लिया था कि 24 तारीख से जो भी व्यक्ति बिना मास्क लगाए शहर में घूमता हुआ नजर आएगा, उसे माधव कॉलेज में बनी अस्थाई जेल में डाल दिया जाएगा। सुबह पुलिस - प्रशासन की टीम ने विभिन्न चौराहों पर जाकर सर्चिंग शुरू की, जिसमें सैकड़ों की संख्या में ऐसे लोग नजर आए जो मुंह पर बिना मास्क लगाए शहर में घूम रहे थे। इन सभी को पकड़कर उज्जैन पुलिस ने अस्थाई जेल में डाल दिया है।
धारा 144 के तहत की जा रही कार्रवाई
एडीएम विदिशा मुखर्जी के अनुसार दोपहर तक मास्क नहीं पहनने वाले 198 लोगों को अस्थाई जेल भेजा गया है। प्रशासन ने कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए धारा 144 में कई बार प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किए, जिसमें साफ कहा गया कि सभी लोगों को मास्क पहनना अनिवार्य है। मास्क भी सही तरीके से पहनना होगा। वह नाक के नीचे या गले में लटका नहीं होगा, लेकिन यह देखने में सामने आया कि लोग कानून का पालन नहीं कर रहे हैं। बार-बार चेतावनी के बाद भी लोगों के आदत में सुधार नहीं हुआ तो धारा 144 के तहत यह तय किया गया कि ऐसे लोगों को पकड़कर सीधे अस्थाई जेल भेजा जाए।
दो-दो मास्क खरीदना अनिवार्य
मुखर्जी के अनुसार इनके लिए दो प्रकार की सजा है। पहला स्वयं सहायता समूह द्वारा बनाए गए मास्क को खरीदना होगा। प्रत्येक मास्क की 10 रुपए रखी गई है। ऐसा इसलिए कि एक मास्क को वे एक दिन धाेएं तो दूसरे को पहन सकें। दूसरी सजा इन्हें शाम 5 बजे तक अस्थाई जेल में रहेंगे। प्रशासन किसी को जेल नहीं भेजना चाहती, लेकिन कोरोना को रोकने के लिए यह कार्रवाई की जा रही है। यह तब तक जारी रहेगी, जब तक की कोराेना के संख्या में कमी नहीं आ जाती है।