इंदौर। मध्य प्रदेश की सांवेर विधानसभा सीट पर उपचुनाव होना है। श्री तुलसीराम सिलावट जो पहले कांग्रेस के नेता थे अब भाजपा के प्रत्याशी हैं। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने उन्हें चुनाव से पहले ही कैबिनेट मंत्री बना दिया है क्योंकि सुरेश सिलावट ज्योतिरादित्य सिंधिया के खास है। भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं में इस बात से नाराजगी है। 2018 में जिस तुलसीराम सिलावट के खिलाफ चुनाव प्रचार किया 2020 में उसी तुलसीराम के लिए वोट कैसे मांगे। कार्यकर्ताओं को मोटिवेट करने के लिए भारतीय जनता पार्टी ने वर्चुअल रैली का आयोजन किया और इंदौर की राजनीति के भाई कैलाश विजयवर्गीय को कार्यकर्ताओं को मोटिवेट करने के लिए बुलाया लेकिन श्री कैलाश विजयवर्गीय कार्यकर्ताओं का दर्द कम करने के बजाय अपना दर्द बयां करके चले गए।यहां यह बताना जरूरी है कि इंदौर और सांवेर के भाजपा कार्यकर्ता बहुत अच्छी तरीके से जानते हैं कि जब श्री कैलाश विजयवर्गीय कार्यकर्ताओं से पूरी ताकत से जुट जाने की अपील करते हैं तो उनके शब्द क्या होते हैं और वाणी में ओज कितना होता है। मेरे जैसे कार्यकर्ता के भी मन में कभी कभी यह विचार आता है: कैलाश विजयवर्गीय भाजपा द्वारा मध्य प्रदेश में आगामी समय में होने वाले 24 विधानसभा क्षेत्रों के उप-चुनाव के लिए विधानसभा क्षेत्रवार वर्चुअल रैलियां आयोजित की जा रही है। इसी क्रम में बुधवार को इंदौर के सांवेर विधानसभा क्षेत्र की रैली हुई। इसमें मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भोपाल से संबोधित किया वहीं राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने इंदौर से शामिल हुए। वर्चुअल रैली को संबोधित करते हुए विजयवर्गीय ने कहा, कई कार्यकर्ताओं और मेरे जैसे कार्यकर्ता के भी मन में कभी कभी यह विचार आता है कि जिन कांग्रेस के लोगों के साथ हम लड़ते रहे उनके लिए हम कैसे काम करेंगे। मित्रो, राजनीति इसी को कहते हैं। कभी कभी कड़वा घूंट पीकर भी समाज सेवा करनी होती है: कैलाश विजयवर्गीय श्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि कभी कभी कड़वा घूंट पीकर भी समाज सेवा करनी होती है। मैं जानता हूं, सांवेर के कार्यकर्ताओं से मिला.. उन्होंने कहा कि हम कैसे कांग्रेस का काम करेंगे। यह कांग्रेस का काम नहीं है क्योंकि तुलसी राम सिलावट ने भाजपा की सदस्यता ग्रहण कर ली है। अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए विजयवर्गीय ने कहा, भाजपा में सिलावट सिर्फ अकेले नहीं आए हैं अपने साथ विधायकों की फौज लेकर आए हैं। उस फौज के कारण शिवराज सिंह चौहान आज मुख्यमंत्री हैं। शिवराज सिंह लगातार मुख्यमंत्री बने रहें इसके लिए बहुत जरूरी है कि यह सीट हम जीते।