वाधवानी ने मांगी जमानत, कहा- कोरोना रिपोर्ट आ जाए; कोर्ट ने की याचिका खारिज , 48 घंटे की रिमांड पर भेजा

Posted By: Himmat Jaithwar
6/17/2020

इंदौर. पान मसाले कारोबार में सामने आई 225 करोड़ की टैक्स चोरी के मामले में गिरफ्तार इंदौर के उद्योगपति किशोर वाधवानी को डायरेक्टोरेट जनरल ऑफ इंटेलीजेंस (डीजीजीआई) और डायरेक्टोरेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलीजेंस (डीआरआई) की टीम ने मंगलवार को किला कोर्ट, मुंबई में पेश किया। 


सुनवाई के दौरान वाधवानी के वकील सुजॉय कांटावाला ने तर्क दिया कि उन्हें डायबिटीज, हाई बीपी है और मुंबई में जिस तरह से कोरोना फैला हुआ है उनका भी टेस्ट कराया गया है लेकिन अभी रिपोर्ट नहीं आई है, ऐसे में उन्हें जमानत दी जानी चाहिए, वैसे भी इस पूरे मामले में उनकी कोई भूमिका नहीं है। हालांकि विभाग द्वारा इस पर आपत्ति ली गई कि यह गंभीर आर्थिक अपराध है और इसमें करोड़ों की टैक्स चोरी है, इसलिए रिमांड जरूरी है। जज एके काशीकर ने सभी तर्कों को सुनने के बाद वाधवानी की जमानत याचिका खारिज करते हुए 48 घंटे की ट्रांजिट रिमांड सौंप दी। यानी विभाग को गुरुवार दोपहर तक वाधवानी को इंदौर कोर्ट में पेश करना है। 


सूत्रों के अनुसार भोपाल की डीजीजीआई टीम वाधवानी को मुंबई से लेकर देर शाम रवाना हो गई जो बुधवार अलसुबह तक इंदौर पहुंच सकती है। वहीं संभव है कि बुधवार दोपहर में विभाग उन्हें कोर्ट में पेश कर रिमांड मांग लें।

उधर 75 करोड़ के टैक्स चोरी के आरोपी और डमी माने जाने वाले विजय नायर की रिमांड खत्म होने के बाद विभाग के वकील चंदन एरन के तर्कों के बाद एक दिन के लिए जेल भेजने के आदेश न्यायिक मजिस्ट्रेट मयंक शुक्ला ने दे दिए। अब बुधवार को संजय माटा, नायर, अशोक डागा व अमित बोथरा सभी की एक साथ सुनवाई की जाएगी। संभव है कि इन्हीं के साथ वाधवानी को पेश कर दिया जाए। 


शाम होने के कारण एक दिन देरी से पहुंचे कोर्ट
सूत्रों के अनुसार वाधवानी को सोमवार को एक फाइव स्टार होटल में गिरफ्तार कर लिया गया, लेकिन कोरोना के चलते मुंबई की कोर्ट जल्द बंद हो गई, जिसके चलते शाम को कोर्ट में पेश नहीं कर सके। विभाग ने फिर मंगलवार दोपहर में कोर्ट में पेश किया और 48 घंटे की ट्रांजिट रिमांड ले ली।

गिरफ्तारी में कानून का पालन नहीं हुआ : वकील कांटावाल
वकील कांटावाल ने बताया कि गिरफ्तारी पर 24 घंटे के भीतर कोर्ट में पेश करना होता है, लेकिन इस संवैधानिक प्रावधान का ध्यान नहीं रखा गया। रातभर अधिकारी उनके साथ होटल में रहे और फिर देर से कोर्ट में पेश किया। हमने इन सभी तथ्यों को सामने रखा। कोरोना टेस्ट के रिजल्ट तक रुकने की मांग की थी, यदि कहीं पॉजिटिव आते हैं तो उन्हें ले जा रहे अधिकारियों को भी यह हो सकता है। खैर विभाग को ट्रांजिट रिमांड मिला है।

कच्चे में पान मसाले का धंधा चलाने  के लिए किया ‘पक्का’ काम

  • डमी फर्म बनाई। अपनों को मालिकाना हक दिया। ब्रांड विशेष के उत्पाद बनाने का करार किया।
  • पान मसाला बनाने की मशीन स्थापित की। इन मशीनों को जीएसटी में रजिस्टर्ड कराया जाता है।
  • दो मशीनें रजिस्टर्ड कराई जाती हैं और चलाई जाती है दस।  गोदाम भी किराए से लिए जाते हैं।
  • आठ मशीनों का उत्पादन कच्चे में होता है। कच्चे में ही सुपारी सहित पूरा मटैरियल अाता है।
  • पूरा हिसाब कच्ची डायरियों में रखा गया। सौदा पूरा होते ही डायरी नष्ट कर अगले सौदे की लिखा-पढ़ी।
  • 100 पाउच बनाए, 20 रिकॉर्ड पर दिखाए। पान मसाले पर कुल 88% टैक्स है। यही बचत बड़ी कमाई है।
  • दो नंबर में बेचे 80 पाउच की कमाई खपाने के लिए डमी कंपनियां बनाई जाती हैं, क्योंकि इसमें भारी कैश लगता है।
  • पान मसाले की पूरी ब्लैक मनी इन कंपनियों में डाल दी जाती है और अन्य जगह पर निवेश किया जाता है।
  • जैसे यहां पर एएए इंटरप्राइजेज को बनाया गया। इसके जरिये पान मसाले का काम किया और टैक्स चोरी की गई।



Log In Your Account