कंटेनमेंट इलाकों को छोड़कर सभी धार्मिक स्थल खुले; मंदिरों में न फूल चढ़ा, न ही प्रसाद, अंदर बात करना भी मना

Posted By: Himmat Jaithwar
6/15/2020

भोपाल. शहर में कंटेनमेंट क्षेत्रों को छोड़कर सोमवार से सभी धार्मिक स्थल खुल गए हैं। मंदिरों में भक्तों को सिर्फ दर्शन करने की अनुमति है। अगरबत्ती से लेकर प्रसाद, फूल और जल चढ़ाने पर रोक है। मंदिर में बैठने, भीड़ लगाना और खड़े होकर बातचीत करने की भी मनाही है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी करुणाधाम मंदिर पहुंचकर दर्शन किए।

इससे पहले, मध्यप्रदेश में सभी धार्मिक स्थलों को 8 जून से खोल दिया गया था। लेकिन, संक्रमण के चलते भोपाल में इन्हें रविवार तक बंद रखा गया था।

लक्ष्मीनारायण (बिड़ला) मंदिर में भक्तों के लिए पहली बार सामान्य दिनों में दूसरा गेट खोला गया है। यह गेट सिर्फ प्रमुख त्योहारों पर भीड़ बढ़ने पर खुलता था।

शहर में लक्ष्मीनारायण मंदिर में पहली बार सामान्य दिनों में दूसरा गेट खोला गया। यह इसलिए, ताकि लोग एक-दूसरे के संपर्क में न आए। आमतौर पर विशेष पर्व या त्योहारों पर ही से खोला जाता है। वहीं आम दिनों में खुलने वाले गेट से भक्तों को मंदिर से बाहर निकलने के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है। आम दिनों में मंदिर खुलने से सुबह 10 बजे तक रोजाना डेढ़ सौ से 200 भक्त पहुंचते थे, लेकिन सोमवार को यह संख्या 10 से 12 ही रही। मंदिर में सुरक्षा गार्ड को सभी गेट पर तैनात किया गया है। वे भक्तों को मंदिर में प्रवेश करने के पहले मास्क लगाए रहने और हाथ सैनिटाइज करने के निर्देश देते रहे। 

बड़वाले महादेव का मंदिर 80 दिन बाद भक्तों के लिए खोला गया। सुबह से ही यहां पर लोग पूजा-अर्चना के लिए पहुंचने लगे। 

10 साल से कम और 65 साल से अधिक उम्र वालों के लिए सलाह
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार, कोविड-19 को देखते हुए 65 साल से ज्यादा उम्र के बुजुर्ग, गर्भवती महिलाएं, 10 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को घर पर ही रहने की सलाह दी गई है। धार्मिक स्थल में काम करने वाले कर्मचारियों से सावधानी बरतने को कहा गया है। चेहरे को मास्क या फेस कवर से ढंकना अनिवार्य किया गया है। 

अयोध्या नगर थाने के पास स्थित मंदिर में अखंड पाठ शुरू किया गया। भक्तों के लिए मंदिर खोल दिया गया है।
अयोध्या बाइपास स्थित एक मंदिर के पट खुलने पर बाहर से ही हाथ जोड़कर प्रार्थना करता भक्त। 

इस तरह कराए जा रहे हैं दर्शन

  • प्रवेश द्वार पर सैनिटाइजर, डिस्पेंसर और थर्मल स्क्रीनिंग की व्यवस्था।
  • कोविड के लक्षण (सर्दी, खांसी, बुखार न होने पर ही) नजर आने पर प्रवेश नहीं दिया जाएगा।
  • मॉस्क या फेस कवर के बिना प्रवेश नहीं।  
  • ऑडियो और वीडियो क्लिप द्वारा बचाव संबंधी सावधानियों का बार-बार प्रसारण सुनिश्चित किया जा रहा है। 
  • परिसर के बाहर और पार्किंग एरिया में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराने के लिए कर्मचारियों की ड्यूटी।
  • सोशल डिस्टेंसिंग के पालन के लिए लाइन में गोले के निशान बनाए गए। 
  • प्रसाद, चरणामृत, छिड़काव को बंद रखने का निर्णय लिया गया। 
  • मंदिरों से घंटियां हटाई गईं। फूल, नारियल, अगरबत्ती, चादर चढ़ाने पर भी रोक।



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