भोपाल। हर कोई जानना चाहता है कि 3 मई के बाद क्या होगा। समाचार यह है कि 3 मई के बाद आधा मध्य प्रदेश (जहां कोरोनावायरस का कोई मामला नहीं मिला) पूरी तरह से खुल जाएगा। 30 जिलों में से 2 जिले इंदौर और उज्जैन पूरी तरह से बंद रहेंगे। भोपाल में थोड़ी ढील दी जाएगी। खरगोन और रायसेन का फैसला 2 मई तक आने वाली रिपोर्ट के बाद किया जाएगा।
मध्यप्रदेश में शिवराज सिंह सरकार ने लॉकडाउन से बाहर आने की योजना बनानी शुरू कर दी है। भोपाल, धार, खरगोन व होशंगाबाद के कंटेनमेंट क्षेत्र को छोड़कर बाकी जगह कामकाज में ढील दी जाएगी। ग्रीन जोन के 25 जिलों में ग्रामीण क्षेत्रों के साथ-साथ शहरी इलाकों में भी गतिविधियां बढ़ाई जाएंगी। यहां ऑफिस व फैक्ट्रियों में मेनपॉवर 33 से बढ़ाकर 50 फीसदी किए जाने की तैयारी है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा के समक्ष अधिकारियों ने इसके बिंदु बताए। इस दौरान तय हुआ कि केंद्रीय गृह मंत्रालय लॉकडाउन खोलने की जो गाइडलाइन जारी करेगा, उसी आधार पर मप्र प्लान बनाएगा।
वर्क प्लेस के लिए :
छोटे उद्योग खुलेंगे। जो बड़े उद्योग रेड जोन के पास नहीं हैं और उनके पास मेनपावर की सुविधा है, वे 50% मजदूरों के साथ खुल सकेंगे। पीथमपुर, देवास, मंडीदीप को गाइडलाइन में छूट।
आवाजाही :
भोपाल, इंदौर, खरगोन, उज्जैन के हॉटस्पॉट व कंटेनमेंट क्षेत्रों में सख्ती पूर्ववत रहेगी। धार, खंडवा, जबलपुर, रायसेन, होशंगाबाद, बड़वानी, देवास, मुरैना, विदिशा, रतलाम व आगर मालवा में खुली आवाजाही को छोड़ बाकी ढील मिल सकती है। ऑरेंज और ग्रीन जोन के जिलों में ग्रामीण इलाकों में तो कामकाज प्रारंभ हुआ है, यहां अब शहरी इलाकों में भी गतिविधियां बढ़ाई जाएंगी। सार्वजनिक परिवहन और निजी गाड़ियों के इस्तेमाल की छूट मिलेगी।
बाजार प्रोटोकॉल के साथ खोला जाएगा
रेड जोन के जिलों में बड़े बाजार नहीं खुलेंगे। इलेक्ट्रॉनिक्स, स्टेशनरी शॉप के बारे में तीन मई को फैसला लिया जाएगा। छोटे बाजार, ग्रीन व ऑरेंज जोन के हाट को कुछ प्रोटोकॉल के साथ खोला जा सकता है।