लॉकडाउन में 60 वर्षीय हेड कांस्टेबल 600 KM पैदल चल कर 16 दिन में उज्जैन पहुंचे

Posted By: Himmat Jaithwar
4/18/2020

उज्जैन। कोरोना महामारी के चलते देशभर में लॉकडाउन चल रहा है। 21 दिन के लॉकडाउन के बीत जाने के बाद इसे बढ़ाकर 3 मई तक कर दिया गया है। लॉकडाउन के दौरान कई ऐसी कहानी सामने आई, जहां लोग सैकड़ाें किमी पैदल चल कर अपने घर पहुंचे। एक ऐसा ही वाक्या उज्जैन में भी सामने आया है। यहां नीलगंगा थाने में पदस्थ 60 वर्षीय हेड कांस्टेबल 16 दिन तक पैदल चलने के बाद 500 किमी का सफर तय करके उज्जैन पहुंचे। इस दौरान उन्हें सिर्फ दो दिन खाना नसीब हुआ। बाकी दिन उन्होंने बिस्किट और नमकीन खाकर यात्रा की। पुलिसकर्मी के इस जज्बे की आलाधिकारियों ने भी सराहना की।   

उज्जैन के नीलगंगा थाने में पदस्थ 60 वर्षीय हेड कांस्टेबल रमेश तोमर 21 मार्च को विसरा रिपोर्ट के सिलसिले में उज्जैन से ग्वालियर गए थे। यहां उन्होंने थाने पर रिपोर्ट जमा कर पावती ली और उज्जैन आने के लिए स्टेशन पहुंचे। लॉकडाउन के कारण स्टेशन पर उन्हें घुसने नहीं दिया गया। इसके बाद वे पैदल ही बस स्टैंड पहुंचे, लेकिन कोई बस नहीं थी। इसके बाद चार किमी पैदल चलकर वे अपनी बेटी के घर पहुंचे। बेटी यहां प्रगति विहार कॉलोनी में रहती है। उसने कहा कि पापा दो दिन यहीं रुक जाओ, लॉकडाउन खुलते ही चले जाना। इस प्रकार दो से चार, चार से छह दिन बीत गए, लेकिन लॉकडाउन खुलने के कोई आसार नजर नहीं आए। उन्होंने बेटे को फोन करके बुलाया, लेकिन वह नहीं आ पाया। किसी तरह तोमर बेटे के पास मुरैना पहुंचे। उन्होंने बेटे से कहा कि मुझे उज्जैन तक छोड़ दे, पर उसने कहा कि मैं आपको छोड़कर लौटूंगा तो पुलिस वाले रास्ते में मारेंगे। इसलिए मैं तो नहीं जा पाऊंगा। इस पर मैं पैदल ही मुरैना से उज्जैन के लिए रवाना हुआ।

तोमर ने बताया- मुरैना से उज्जैन तक का करीब 500 से 600 किमी का सफर उन्होंने पैदल ही पूरा किया। इस दौरान उन्हें सिर्फ दो दिन रोटी नसीब हुई। बाकी दिन बिस्किट और नमकीन के सहारे पैदल ही दिन गुजरे। उन्होंने बताया कि घर से जो रोटी वे लेकर चले थे एक दिन वह चल गई। इसके बाद एक दिन उन्हें सरदार का ढाबा दिखा, जहां पर खाना मिल गया। 16 दिन बाद उज्जैन पहुंचे तोमर ने उच्च अधिकारियों को आपबीती सुनाई तो उन्होंने उनकी तारीफ की। वहीं, नीलगंगा क्षेत्र के सिंधी कॉलोनी चौराहे पर ड्यूटी दे रहे पुलिसकर्मियों ने तालियां बजाकर उनका स्वागत किया। ताेमर ने कहा कि यहां पर अधिकारियों ने मेरा उत्साह बढ़ाया। मुझे बहुत अच्छा लगा।



Log In Your Account