लोकार्पण से एक दिन पहले कांग्रेस के पूर्व मंत्री ने सीप नदी पर फीता काटा, आज मुख्यमंत्री शिवराज सिंह करने वाले थे बॉक्स ब्रिज का वर्चुअल शुभारंभ

Posted By: Himmat Jaithwar
7/1/2021

नसरूल्लागंज। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व PWD मंत्री सज्जन सिंह वर्मा ने सेंध मारी की है। पूर्व मंत्री वर्मा ने मुख्यमंत्री की विधानसभा क्षेत्र में इंदौर-नसरूल्लागंज मार्ग पर सीप नदी पर बने बाॅक्स ब्रिज रपटे का एक दिन पहले ही फीता काट उद्घाटन कर आवागमन शुरू कर दिया। जबकि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान 1 जुलाई को ब्रिज का वर्चुअल उद्घाटन करने वाले थे। पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा के इस तरह सेंधमारी जैसी हरकत से राजनीति गरमा गई है। भाजपा जिला अध्धक्ष ने कहा कि जिन्होंने सत्ता में रहकर कुछ नहीं किया। वो अब कर रहे हैं।

बता दें इंदौर-नसरूल्लागंज राज्यमार्ग पर गिल्लौर और पांड़ागांव के बीच सीप नदी पर बना पुल पिछले साल जून माह में क्षतिग्रस्त हो गया था। जिससे आवागमन पूरी तरह बंद था। मुख्यमंत्री ने बॉक्स ब्रिज तैयार करने के लिए 3 करोड़ 72 लाख रुपए की राशि मंजूर की थी। गुरुवार को वर्चुअल तरीके से सीएम को इस ब्रिज का उद्घाटन करना था। इसके लिए सीप नदी पर तैयारियां भी चल रही थीं। लेकिन बुधवार को ही कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व PWD मंत्री सज्जन सिंह वर्मा ने एकाएक आकर फीता काटा और आवागमन शुरू करा दिया।

नेमावर हत्याकांड के पीड़ित परिवार से मिलने पहुंचे थे पूर्व मंत्री

नेमावर हत्याकांड के पीड़ित परिवार से मिलने के बाद पूर्व मंत्री नसरुल्लागंज की ओर एक ओर पीड़ित परिवार से मिलने जा रहे थे। रास्ते में सीप नदी के पुल से गुजर रहे थे तो उन्हें बाॅक्स ब्रिज के पास तैयारियां होती दिखाई दीं। गाड़ी में ही मौजूद स्थानीय कार्यकर्ता द्वारका जाट, गोपाल शर्मा, संतोष शर्मा, सुनील गोल्यिा से उन्होंने पूछा कि यह क्या तैयारी चल रही है। तब उन्होंने कहा कि एक जुलाई को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान 3 करोड़ 72 लाख रुपए की लागत से बने इस बाॅक्स ब्रिज का वर्चुअल उद्घाटन करेंगे और कार्तिकेय सिंह चौहान यहां पर मौजूद रहेंगे। उन्होंने तत्काल गाड़ी को रुकवाया और ब्रिज पर खड़े होकर कहा कि लोगों की परेशानी इन्हें दिखाई नहीं दे रही। वर्चुअल कार्यक्रम की कोई आवश्यकता नहीं है। उन्हें तो मैदान में आकर ही काम करना चाहिए। उन्होंने कार्यकर्ताओं से तत्काल कहा कि हम ही इसका उद्घाटन कर देते हैं। जिससे आम लोगों की तकलीफ दूर हो जाए। फीता काटकर आगमन शुरू करा दिया।

एक नजर पुल की ओर

  • पांडागांव का पुल नसरुल्लागंज से इंदौर को जोड़ने के लिए कांग्रेस सरकार में 1984 में बनाया था। इसका लोकार्पण रामजी महाजन ने किया था।
  • पुल 3 बार बदहाल हुआ। पुल की ब्रिज कॉरपोरेशन ने 3 बार मरम्मत की।
  • पुल क्षतिग्रस्त होने पर एक साल तक आवागमन बाधित रहा।
  • पुल क्षतिग्रस्त होने पर पावर मेक कंपनी ने 2 बार अस्थाई पुल बनाया और उसमें 40 लाख की लागत आई।
  • बॉक्स कबर्ड पुल की लागत 3 करोड़ 72 लाख है और इसे मई माह तक पूर्ण होना था।

जिन्होंने सत्ता में रहकर कुछ नहीं किया, वह अब कर रहे दिखावा

भाजपा जिलाध्यक्ष रवि मालवीय ने कहा कि जिनको पूरे डेढ़ साल का समय मिला, वह सिर्फ इसी तरह की हरकत कई जगह करते हुए आए हैं। वैसे किसी दूसरे क्षेत्र में विधायक को यह अधिकार भी नहीं होता कि वह फीता काट कर चले जाएं। हमने केवल लोकार्पण के लिए ही ब्रिज से आवागमन नहीं रोका, बल्कि ठेकेदार ने स्पष्ट कहा था कि एक जुलाई से ही ब्रिज पर आवागमन के लिए शुरू हो पाएगा। बॉक्स ब्रिज में दूसरी लेयर डाली गई थी। इस दौरान आवागमन शुरू करना संभव नहीं था। फिर भी जो काम विधिवत तरीके से होना है। वह तो हम करेंगे ही, लेकिन इस पूरे मामले में कांग्रेस के सीनियर मंत्री का यह कार्य देखकर लगता है कि जो पीडब्ल्यूडी मंत्री रहते हुए एक इंच भी सड़क नहीं बना पाए। वह किस मुंह से भाजपा सरकार द्वारा बनाए गए पुल का उद्घाटन करके गए हैं। साथ ही ऐसा लगता है कि 16-17 सालों से लगातार वनवास झेलने के कारण ऐसी स्थिति देखने को मिल रही है। जनता सब देख रही है।

वर्चुअल का समय नहीं, मैदान में आकर काम करने का है

पूर्व मंत्री और सोनकच्छ विधायक सज्जन सिंह वर्मा ने कहा कि यह समय वर्चुअल का नहीं बल्कि मैदान में आकर काम करने का है। मैं लोगों के बीच रहकर काम करता हूं और जनता के मन में जागृति पैदा करता हूं। जिस पुल का उद्घाटन किया गया। उसकी गुणवत्ता देखकर कहा जा सकता है कि पुल बनाने में भारी भ्रष्टाचार हुआ है। ऐसा कोई क्षेत्र नहीं बचा जहां पर जुआ, शराब, अनैतिक काम नहीं हो रहे हो। जिसका राजा भ्रष्टाचारी है। राजा हिटलर है तो आप उससे न्याय की उम्मीद कैसे कर सकते हो। मुख्यमंत्री के गृह ग्राम जैत में अवैध जुए के अड्डे चल रहे हैं और रेत का ऐसा पर्यायवाची शब्द है इसमें जो माल मुख्यमंत्री ने कमाया है। इतना भ्रष्टाचार हुआ है कि उन्हें कोई दूसरा करने की जरूरत ही नहीं है। मुख्यमंत्री और उनकी पूरी मंडली रेत के अवैध खनन में लगी हुई है। विकास से उनका कोई लेना देना नहीं है।



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