नईदुनिया के वाहन में संक्रमित जिले से लाए गए लोगों की खबर पर पोर्टल संचालक पर की गई कार्यवाही सवालों के घेरे में
रतलाम। विगत दिनों संक्रमित जिले इंदौर से नईदुनिया वाहन में दो लोगो को लाया गया था जिसके बाद पुलिस प्रशासन ने चार लोगों पर प्रकरण दर्ज किया था जिसकी खबर दो पोर्टल सहित अन्य अखबारों में प्रकाशित की गई थी टाइप त्रुटी होने के कारण प्रसाशन ने दो पोर्टल संचालको पर प्रकरण दर्ज किया और उसका प्रेस नोट भी रिलीज किया लेकिन पुलिस कुछ अखबारों पर मेहरबान हो गई। जिसने पेपर के वाहन से इंदौर से लाए गए दो संक्रमित चार किरफ्तार के शीर्षक से प्रसारण,जन सारंगी,अमृत कुंभ, एवं कोरोना मरीज को पेपर वाहन से रतलाम ले जाने पर चार गिरफ्तार शिर्षक से पीपुल्स समाचार में प्रकाशित किया गया ओर इनको सोशल मिडीया में वायरल भी किया गया तो पीपुल्स समाचार में तो दोनों लोगो को कोरोना संक्रमित भी बताया गया
पुलिस का इन अखबारों पर मेहरबान होना शायद यह दर्शाता है कि कुछ लोगो या तथाकथित पत्रकारों के दबाव में आकर यह करवाई की गई। अगर पुलिस की निष्पक्ष कार्रवाई होती तो दो पोर्टलों के साथ उन अखबारों पर भी यह कार्यवाही होती जिन्होंने इस समाचार को प्रकाशित किया था।
संगठनों के सदस्यों की जांच हो तो सामने आएंगे कई फर्जी पत्रकार
रतलाम में पत्रकारों के लोकल से लेकर प्रदेश लेवल तक के आधा दर्जन संगठन रतलाम में सक्रिय है लेकिन इन संगठनों में पत्रकारों से ज्यादा तादात उनके रिस्तेदारो ओर उन लोगो की है जो 200, 500 रुपए देकर संगठन का कार्ड बनवा लेते है और अपने आप को पत्रकार बताते है।जिनका पत्रकारिता से दूर दूर तक कोई वास्ता नही रहता। लेकित पत्रकारों का संगठन अपनी तादात बढ़ाने और कार्ड के नाम पर डोनेशन इकट्ठा करने के लालच में इसे लोगो को भी सदस्यता दे देता है जो उस कार्ड के आधार पर अपनी दुकानें चलाते है। ऐसे लोगो को कुछ ऐसे पत्रकार भी संरक्षण दे रहे हैं, जो अपने आप को बड़े एवं वरिष्ठ पत्रकार बताते हैं।अगर रतलाम में संचालित हो रहे संगठनों के सदस्यों की जांच की जाए तो कई नाम चौकाने वाले सामने आएंगे
अन्य समाचार पत्रों पर कार्यवाही के संबंध में जावरा थाना प्रभारी प्रमोद साहू से जानकारी चाही तो उन्हने दो बार फोन बाद में लगाना कहकर फोन कट कर दिया।