आज की पॉजिटिव कहानी में हम बात कर रहे हैं गुजरात के वडोदरा जिले के गांव नडा की। यह गांव आज की तारीख में डिजिटल हो गया है। यहां हर तरह की मॉडर्न सुविधाओं की व्यवस्था की गई है। जो गांव कभी स्मगलर और चोरों के निशाने पर रहता था, आज वहां जगह-जगह CCTV कैमरे लगे हैं। यहां पानी, सड़क और जल निकासी की बेहतर सुविधा है। हर घर में नल से पानी आता है। गांव में दूध की डेयरी भी है। इससे गांव के लोगों को दूध के लिए बाहर नहीं जाना पड़ता है। साथ ही कई लोगों को इससे रोजगार भी मिल रहा है। इस बदलाव के पीछे ग्राम पंचायत के सरपंच और सदस्यों का खासा योगदान रहा है।
गांव में 34 CCTV कैमरे लगाए
गांव में सभी प्रमुख जगहों पर CCTV कैमरे लगे हैं। जिससे गांव में आने वालों पर नजर रखी जाती है।
डभोई तहसील के पंचायत सदस्य और गांव के निवासी भावेश पटेल के मुताबिक, उनके गांव की आबादी करीब 1800 के आसपास है। वे बताते हैं कि पहले यहां आए दिन चोरी की वारदातें हुआ करती थीं। गांव में स्मगलर घूमते रहते थे। जिसके चलते गांव के लोगों में असुरक्षा का माहौल था। इस बात को ध्यान में रखते हुए ग्राम पंचायत ने तय किया कि पूरे गांव में CCTV कैमरे लगाए जाएंगे। पिछले साल नवंबर-दिसंबर में इसकी शुरुआत हुई थी। अभी गांव के प्रवेश द्वार से लेकर स्कूल और पंचायत कार्यालय में 34 CCTV कैमरे लगाए गए हैं।
गांव के ही लोग करते हैं मॉनिटरिंग
जिला पंचायत की तरफ से ये कैमरे लगाए गए हैं। लगातार इसकी मॉनिटरिंग की जाती है। गांव के ही कुछ लोगों को जिम्मेदारी दी गई है। लोग शिफ्ट में अपना काम बांटकर इसकी मॉनिटरिंग करते हैं। इसकी मदद से स्कूलों में पढ़ाई कर रहे बच्चों पर भी नजर रखी जा रही है। भावेश बताते हैं कि कैमरे की मदद से हमें पता चल जाता है कि हमारा बच्चा स्कूल में पढ़ाई कर रहा है या बाहर घूम रहा है। अगर वो ठीक ढंग से पढ़ाई नहीं कर रहा होता है तो उसकी शिकायत टीचर से की जाती है। साथ ही अगर क्लास में कौन टीचर पढ़ाता है या नहीं पढ़ाता है, इसकी भी मॉनिटरिंग की जाती है।
अब पूरे गांव में सोलर सिस्टम इंस्टालेशन की प्लानिंग
इस गांव में अभी 34 CCTV कैमरे लगाए गए हैं। यहां के स्कूलों में भी इसकी मदद से नजर रखी जा रही है।
गांव की सरपंच वैशालीबेन पटेल बताती हैं कि हमारे गांव में दो स्कूल हैं, जहां बोरबार और थरवासा गांव के बच्चे पढ़ने के लिए आते हैं। स्कूलों में CCTV कैमरे लगाने से स्कूल के प्रधानाचार्य और ग्रामीणों को बच्चों की पढ़ाई की निगरानी करने में आसानी हो गई। अब आने वाले दिनों में हमारी प्लानिंग गांव में जगह-जगह सोलर प्लांट लगाने की है, ताकि हम गांव के लोगोंं को चौबीसों घंटे बिजली उपलब्ध करा सकें और महंगे बिजली बिल से मुक्ति भी मिल सके। इसके लिए हमने काम शुरू कर दिया है।
कोरोनाकाल में बहुत काम आए CCTV कैमरे
वैशालीबेन पटेल के मुताबिक, गांव में लगे CCTV कैमरों का सबसे ज्यादा फायदा कोरोनाकाल में मिला। वे बताती हैं कि जब देशभर में लॉकडाउन लगा था और बाहर के लोगों को गांव में आने नहीं दिया जा रहा था, तब हम कैमरे की मदद से निगरानी रखते थे। हम बाहर से आने वालों की पहचान करते थे और उन्हें क्वारैंटाइन कर देते थे। इसका फायदा ये हुआ कि हमारे गांव में कोरोना का संक्रमण नहीं फैला।
CCTV कैमरे लगाने का फायदा ये हुआ कि यहां चोरी की घटनाएं बंद हो गई हैं।
आगे स्मार्ट विलेज बनाने पर रहेगा फोकस
सरपंच वैशालीबेन पटेल कहती हैं कि आने वाले दिनों में गांव को पूरी तरह से डिजिटल बनाया जाएगा। इसके तहत गांव में CCTV कैमरे के साथ वाईफाई की व्यवस्था की जाएगी। गांव के स्कूलों में स्मार्ट क्लास रूम बनाए जाएंगे। बच्चों की कंप्यूटर क्लास भी लगेगी, ताकि उन्हें मॉडर्न एजुकेशन मिल सके।
अन्य गांव भी ले रहे प्रेरणा
इस समय नडा गांव में 34 CCTV कैमरे लगे हैं। इससे गांव की सुरक्षा तो बढ़ी ही है, साथ ही दूसरों गांवों में चर्चा का विषय भी नडा गांव बना है। अब आसपास के दूसरे गांव के लोग भी अपने गांव में इसी तरह के काम की योजना बना रहे हैं। वे लोग भी चाहते हैं कि हमारे गांव में CCTV कैमरे लगें ताकि चोरी की वारदातें कम की जा सकें और गांव को आधुनिक बनाया जा सके। बता दें कि गुजरात सरकार सुरक्षा सेतु योजना के तहत CCTV कैमरा लगाने पर 30% की सब्सिडी भी दे रही है।