वॉशिंगटन. अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव होने में पांच महीने बाकी हैं। वहीं, राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प फिलहाल कई राजनीतिक विरोधों का सामना कर रहे हैं। बताया जा रहा है कि अगर चुनाव आज होते, तो संभव है कि वे हार जाते। राष्ट्रपति के वेस्ट विंग के सलाहकार और कैंपेन के सहयोगी ट्रम्प के दोबारा चुने जाने को लेकर चिंतित हैं। उनके सलाहकारों के मुताबिक, पहले कोरोनोवायरस से निपटने को लेकर ट्रम्प की नीतियों के खिलाफ और अब नस्लीय भेदभाव को लेकर देशभर में प्रदर्शन किए जा रहे हैं।
उनके सहयोगी इस बात को लेकर चिंतित हैं कि जो काम उनके विपक्षी उम्मीदवार जो बिडेन को करना चाहिए था, वह ट्रम्प ने कर दिया था। इससे बिडेन के समर्थकों का उत्साह बढ़ गया है। ट्रम्प को अश्वेत व्यक्ति जॉर्ज फ्लॉयड की मौत से पहले भी सख्त राजनीतिक गतिरोधों का सामना करना पड़ा था। दरअसल, 25 मई को मिनोपोलिस में एक पुलिस अफसर ने जॉर्ज फ्लॉयड की गर्दन को करीब 9 मिनट तक घुटने से दबाए रखा था, जिससे उसकी मौत हो गई थी।
संक्रमण के चलते ट्रम्प को फंड नहीं मिल रहा
कोरोना की वजह से लोगों से जुड़ी और आर्थिक समस्या बढ़ रही है। राष्ट्रपति के विपक्षी इस मुद्दे को उठा रहे हैं। इससे ऐसे क्षेत्रों में उनके समर्थन पर असर पड़ सकता है, जो उनकी जीत के लिहाज से अहम माने जा रहे हैं। ट्रम्प की चुनावी रैलियां कई महीनों से ठप पड़ी हैं। बिडेन की तुलना में उन्हें चुनाव के लिए उम्मीद के मुताबिक फंड नहीं मिल पा रहा है। इसका मुख्य कारण है कि ज्यादा फंड जुटाने वाले अभियान संक्रमण की वजह से रुक गए हैं।
पिछली बार भी सर्वे में मैं हार रहा था: ट्रम्प
म्प के चुनाव अभियान के वर्तमान और पूर्व छह अधिकारियों के अनुसार, आंतरिक कैंपेन सर्वे और पब्लिक पोलिंग में यह देखा जा रहा है कि वरिष्ठों के बीच ट्रम्प की लोकप्रियता में कमी आई है। माना जाता है कि एक समय इनका ट्रम्प की ओर काफी झुकाव होता था। इस बीच, गुरुवार को पब्लिक सर्वे को झुठलाते हुए ट्रम्प ने फॉक्स न्यूज रेडियो से कहा था कि वोटर्स मेरे पक्ष में हैं। पिछली बार भी मैं सर्वे में हर राज्य में हिलेरी से हार रहा था, लेकिन मैंने हर जगह जीत हासिल की।
हालांकि, राष्ट्रपति बाहर से आश्वस्त नजर आ रहे हैं। मगर ट्रम्प ने व्हाइट हाउस की साप्ताहिक बैठकों में सलाहकारों से ऐसी आशंकाओं को लेकर शिकायत की है कि वे बिडेन से हार रहे हैं। उन्होंने बैठक में अपने सहयोगियों को अपने पक्ष में वोटर्स को करने के लिए रणनीति बनाने का दबाव डाला है।
नस्लीय भेदभाव और कानून व्यवस्था को लेकर देश में बहस शुरू
बीते दिनों ट्रम्प के चुनावी कैंपेन के तहत ओहियो राज्य में विज्ञापन ब्लिट्ज जारी किया गया। यहां पर पिछले राष्ट्रपति चुनाव में उन्हें 8% वोट मिले थे। इसके साथ ही एरिजोना में भी उनके लिए चुनौतियां खड़ी हो सकती हैं। उनके सहयोगियों ने आगाह किया है कि नस्लीय भेदभाव और कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए की गई कार्रवाई को लेकर देश में बहस शुरू हो गई है। यह उनके हित में नहीं है।
डेमोक्रेटिक के अश्वेत युवा समर्थक इस मुद्दे पर एकजुट हैं। यह वोटर पिछले चुनाव में हिलेरी क्लिंटन के पक्ष में नहीं थे, जिसकी वजह से ट्रम्प की जीत का रास्ता साफ हुआ था।
बेरोजगारी दर में कमी ट्रम्प प्रशासन की उम्मीद
देश में बेरोजगारी दर में कमी आने के बाद ट्रम्प प्रशासन को थोड़ी उम्मीद जरूरी मिली है। शुक्रवार की एक रिपोर्ट के मुताबिक, मई महीने में 25 लाख लोगों को नौकरी मिली है। महामारी की वजह से देश में बेरोजगारी दर काफी बढ़ गई थी। राष्ट्रपति के सलाहकारों का मानना है कि चुनाव में यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा हो सकता है।
बिडेन को कई मोर्चों पर घेरने की रणनीति बनाई जा रही
ट्रम्प ने मार्च के बाद से अपना अभियान शुरू करने की योजना बनाई थी, लेकिन इस बीच देश में संक्रमण फैलने लगा। ऐसे में बिडेन भी प्रचार अभियान में नहीं उतरे और न ही किसी रैली को संबोधित किया। ट्रम्प के समर्थक इस ताक में थे कि रैलियों के दौरान बिडेन कुछ ऐसी बात बोलेंगे, जिसका मुद्दा बनाया जा सके। हालांकि, रिपब्लिकन समर्थक यह भी नहीं कर पाए। अब नए सिरे से बिडेन को कई मोर्चों पर घेरने की रणनीति बनाई जा रही है।