दिल्ली। दिल्ली और एनसीआर में सोमवार को भूकंप (Earthquake) के झटके महसूस किए गए। पिछले 24 घंटे में दूसरी बार दिल्ली-एनसीआर में भूकंप (Earthquake) के झटके महसूस किए गए। रिक्टर पैमाने पर इसकी तीव्रता 2.7 बताया जा रहा है। इससे पहले दिल्ली और उसके आसपास के इलाकों में रविवार शाम भूकंप (Earthquake) के हल्के झटके महसूस किए गए थे। भूकंप (Earthquake) से भयभीत होकर लोग अपने घरों से बाहर निकल आये। रिक्टर पैमाने पर भूकंप (Earthquake) की तीव्रता 3.5 आंकी गयी।
राष्ट्रीय भूकंप (Earthquake) विज्ञान केंद्र (एनसीएस) के अनुसार भूकंप (Earthquake) की मध्यम तीव्रता के झटके शाम 5.45 बजे महसूस किए गए। इसका केन्द्र एनसीआर क्षेत्र में उत्तर में 28.7 डिग्री अक्षांश और पूर्व में 77.2 डिग्री देशांतर पर भू-सतह से आठ किमी गहराई में स्थित था।
उल्लेखनीय है कि भूकंप (Earthquake) की अधिक तीव्रता के लिहाज से देश को पांच जोन में बांटा गया है। दिल्ली, अधिक तीव्रता वाले चौथे जोन में स्थित है। केन्द्र के वरिष्ठ वैज्ञानिक जीएल गौतम ने बताया कि भूकंप (Earthquake) का केन्द्र उत्तर पूर्वी दिल्ली के वजीराबाद क्षेत्र में जमीन से आठ किमी गहराई में केन्द्रित था। उन्होने बताया कि भूकंप (Earthquake) के झटके एनसीआर के पूर्वी इलाकों में नोएडा, गाजियाबाद और फरीदाबाद में भी महसूस किये गये।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट कर कहा, ‘दिल्ली में भूकंप (Earthquake) के झटके महसूस किये गये। आशा है सभी लोग सुरक्षित होंगे। मैं आप सभी में से हर एक के सुरक्षित होने की दुआ करता हूं।’
भूकंप (Earthquake) के कारण भयभीत लोग अपने घरों से बाहर आ गए। स्थानीय प्रशासन ने अब तक जान माल के नुकसान की कोई सूचना नहीं मिलने की जानकारी दी है। पूर्वी दिल्ली के निवासी एस दामले ने बताया कि उन्होंने भूकंप (Earthquake) आने पर अपनी कुर्सी में कंपन महसूस किया। यह कुछ पल के लिये डरा देने वाला अनुभव था।
उल्लेखनीय है कि कोरोना संकट के कारण देशव्यापी लॉकडाउन लागू है। इस वायरस के संक्रमण से बचने और इसे फैलने से रोकने के लिये लॉकडाउन के तहत लोग घरों में ही रहने को मजबूर हैं। दिल्ली में 2004 में 2.8 और इससे पहले 2001 में 3.4 तीव्रता का भूकंप (Earthquake) आया था।