सोनाली फोगाट ने आगे कहा, "हरियाणा जहां केवल पुरुष घर से बाहर जा सकते हैं. मेरे सुसराल वालों ने मुझे आगे पढ़ने की अनुमति दी, लेकिन वह नहीं चाहते थे कि मैं बाहर जाकर काम करूं. बावजूद इसके मैंने अपने पति को इसके लिए राजी किया और अनुमति ली. मेरा संघर्ष यह था कि मैं अभिनय की दुनिया में जाना चाहती थी, लेकिन कोई मेरी मदद करने वाला नहीं थी. मैंने सब कुछ खुद से किया. इसके बाद मैं राजनीति से जुड़ी, जिसके लिए मेरे पति ने भी मेरी मदद की, लेकिन उनकी मौत के बाद मैंने लोगों की असलियत और महिलाओं के प्रति उनका नजरिया देखा."