आज एक बार फिर सोना 48 हजार के पार निकल गया है। सोमवार को MCX पर दोपहर 11:20 पर सोना 48,043 रुपए पर ट्रेड कर रहा है। वहीं अगर सराफा की बात करें तो इंडियन बुलियन एंड ज्वैलर्स एसोसिएशन की वेबसाइट के अनुसार 47,854 पर पहुंच गया है। वहीं चांदी 530 रुपए महंगी होकर 71,967 रुपए प्रति किलोग्राम पर पहुंच गई है। एक्सपर्ट के अनुसार इस साल के आखिर तक सोना 60 हजार तक जा सकता है।
2025 तक 10 गुना महंगा हो सकता है सोना
डॉलर का मूल्य घटे तो सोने का बढ़ता है। 1971 में सोना करेंसी से मुक्त हुआ और 1980 तक सोने के दाम 2000% बढ़ गए। ये सोने का पहला बुल मार्केट था। 1999 से 2011 तक चले दूसरे बुल मार्केट में सोने के दाम 670% बढ़ गए। दोनों बार सोना औसत 15 गुना बढ़ा। तीसरा बुल मार्केट 2015 में शुरू हो गया है। 2025 तक सोना 10 गुना तो बढ़ेगा ही। बुल मार्केट वो स्थिती होती है जब बाजार ऊपर जाता है।
जब शेयर बाजार गिरने लगें और सोना बढ़ने लगे, तब मंदी का एहसास होने लगेगा। रोजमर्रा के सामान में महंगाई लॉकडाउन के बाद दिखेगी। जब डिमांड के मुताबिक सप्लाई नहीं मिलेगी। 2022 आते-आते यह परिस्थिति बन चुकी होगी।
60 हजार तक जा सकता है सोना
केडिया कमोडिटी के डायरेक्टर अजय केडिया कहते हैं कि देश में कोरोना लगातार बढ़ रहा है। इससे भी लोगों में कोरोना के प्रति फिर से डर का माहौल है। इसके अलावा देश में महंगाई भी बढ़ने लगी है। इससे भी सोने के दाम आने वाले दिनों में बढ़ेंगे। अगर ऐसा ही माहौल रहा तो आने वाले 5 से 6 महीनों यानी दिवाली तक सोना 60 हजार रुपए पर पहुंच सकता है।
अप्रैल में सोना 2600 और चांदी 4900 रुपए से ज्यादा महंगी हुई
अप्रैल महीने में ही सोना 2,601 महंगा होकर 46,791 पर पहुंच गया है। 31 मार्च को ये 44,190 रुपए पर था। वहीं अप्रैल में चांदी भी 4,938 रुपए महंगी हुई है। 31 मार्च को अब बाजार बंद हुआ था तब चांदी 62,862 रुपए प्रति किलोग्राम पर थी जो अब 67,800 रुपए पर पहुंच गई है। देश में कोरोना के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए एक्सपर्ट को सोने में आगे और तेजी आने की उम्मीद है।
अगस्त 2020 में 56,200 पर पहुंच गया था सोना
अगस्त 2020 में सोना 56,200 रुपए प्रति 10 ग्राम पर पहुंच गया था। कोरोना महामारी के कारण निवेशकों में डर का माहौल बना हुआ था। हमेशा देखा गया है कि जब भी शेयर बाजार में नुकसान की आशंका हो, डॉलर की तुलना में अन्य मुद्रा कमजोर पड़ने की नौबत हो तो सोने के भाव में उछाल देखा जाता है। लेकिन वैक्सीन आने के बाद सोने के दामों में लगातार गिरावट देखी जा रही थी और ये 44 हजार के नीचे आ गई थी।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी सोना 1,835 डॉलर प्रति औंस के ऊपर आया
अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी सोना 1,835 अमेरिकी डॉलर प्रति औंस पर पहुंच गया है। आने वाले समय में इसके 1,900 डॉलर के पार जा सकता है। यह एक समय 1,720 डॉलर प्रति औंस के स्तर से नीचे आ गया था।
क्यों महंगा हो रहा सोना?
- कोरोना के कारण दुनियाभर में अनिश्चितता का माहौल बना हुआ है। इसके शेयर बाजार में ज्यादा उतार-चढ़ाव होत रहा है। माना जाता है कि इस दौरान निवेशक शेयरों से पैसा निकालकर सोने में निवेश करते हैं। इससे भी सोने के दाम बढ़ने लगते हैं।
- अंतरराष्ट्रीय बाजार में डॉलर कमजोर हो रहा है। इतना ही नहीं रुपया भी डॉलर के मुकाबले कमजोर हुआ है। इससे भी सोने को सपोर्ट मिल रहा है।
- चीन में बैंकों को सोना इंपोर्ट करने की मंजूरी से आने वाले दिनों में सोने-चांदी में तेजी देखने को मिल सकती है।
- अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी सोने के दाम तेजी से बढ़ने लगे हैं। सोने की कीमत 1,773 अमेरिकी डॉलर प्रति औंस के पार निकल गया है। 1 अप्रैल को सोना 1,730 अमेरिकी डॉलर पर था।
- खुदरा और थोक महंगाई दर के आंकड़ों भी 8 साल के उच्चतम स्तर पर आ गए हैं। जिससे सोना और चांदी को सपोर्ट मिल रहा है।